आदमी को चाहिए
मुट्ठी भर जंमी
और मुट्ठी भर आसमान
बस हो गया पुरा उसका जहाँ
फिर ये इतना झोल क्या है?
उनकी जमीन और तुम्हारी जमीन अलग है?
उनका आसमान और तुम्हारा आसमान अलग है ?
हाँ जैसे --
जुए की जमीन और लड़की की जमीन?
जुए के शिकार और लड़की के विचार?
वैसे ही जैसे, जुआरियों के स्कूल?
और लड़की की समझ के स्कूल ?
वैसे ही जैसे सुप्रीम-कोठे का धंधा
और लड़कियों की तकदीरों के फंदे?
अलग हैं क्या --
मगर बना दिए गए एक हैं?
शायद वैसे ही, जैसे, इस समाज में, लड़कों की पुस्तैनी जमीन-जायदाद, और लड़की की, अपनी खुद की कमाई? सही है क्या?
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